योग….

कौशल अरोड़ा

योग….

योग..
एक कला
के साथ, विज्ञान भी है।
शरीर, और मन..
को नियंत्रित करने
का व्यवहार भी है।

योग..
केवल मान्यताओं
का ही अवसर नहीं है।
बल्कि,
यह, एक दूसरे के सद्भाव
का आधार भी है।

योग..
भौगोलिक सम्पदा के गोलार्ध
का लम्बा दिवस,..
प्रकृति और
संस्कृति के मिलन की दीक्षा
है, ‘योग दिवस’।

Print Friendly, PDF & Email
Share on

1 thought on “योग ….

  1. योग का महत्व दर्शाने वाली एक शानदार कविता।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *