पंचांग 6 जुलाई 2022
पंचांग 6 जुलाई 2022
सुविचार
यः पठति लिखति पश्यति, परिपृच्छति पंडितान् उपाश्रयति।
तस्य दिवाकरकिरणैः नलिनी, दलं इव विस्तारिता बुद्धिः॥
भावार्थ
जो मनुष्य पढ़ता है, लिखता है, देखता है, प्रश्न पूछता है और बुद्धिमानों का आश्रय लेता है, उसकी बुद्धि उसी प्रकार बढ़ती है जैसे सूर्य की किरणों से कमल की पंखुड़ियाँ।
॥आप सभी का दिन मंगलमय हो॥