पंचांग 2 जनवरी 2022
पंचांग 2 जनवरी 2022
सुविचार
सहसा विदधीत न क्रियामविवेकः परमापदां पदम्।
वृणते हि विमृश्यकारिणं गुणलुब्धाः स्वयमेव संपदः||
भावार्थ
अचानक आवेश (जोश) में आकर, बिना सोचे समझे कोई कार्य नहीं करना चाहिए, क्योंकि विवेक–हीनता विपत्तियों का सबसे बड़ा कारण होती है। इसके विपरीत जो व्यक्ति सोच समझकर कार्य करता है, गुणों से आकृष्ट होने वाली माँ लक्ष्मी स्वयं ही उसका चुनाव कर लेती हैं।
।।आप सभी का दिन मंगलमय हो।।