पंचांग 5 अक्टूबर 2021
पंचांग 5 अक्टूबर 2021
सुविचार
दयाहीनं निष्फलं स्यान्नास्ति धर्मस्तु तत्र हि।
एते वेदा अवेदाः स्यु र्दया यत्र न विद्यते।।
भावार्थ
दयाभाव के बिना किया गया कर्म फल रहित होता है, ऐसे काम में धर्म (सत्य) नहीं होता। जहाँ दयानहीं है, वहां वेद (धर्म) भी अवेद (अधर्म) बन जाते हैं।
।।आप सभी का दिन मंगलमय हो।।