कानून बनने के बाद भी मुस्लिम युवतियां झेल रही हैं तीन तलाक का दंश

कानून बनने के बाद भी मुस्लिम युवतियां झेल रही हैं तीन तलाक का दंश

कानून बनने के बाद भी मुस्लिम युवतियां झेल रही हैं तीन तलाक का दंशकानून बनने के बाद भी मुस्लिम युवतियां झेल रही हैं तीन तलाक का दंश

कानून बनने के बाद भी मुस्लिम युवतियां तीन तलाक के दंश से मुक्त नहीं हा पा रही हैं। सब जानते हैं वर्ष 2017 में सुप्रीम कोर्ट के पांच जजों की संविधान पीठ ने अपने निर्णय में ट्रिपल तलाक को असंवैधानिक घोषित कर दिया था। सुप्रीम कोर्ट के निर्णय के बाद केंद्र सरकार ने कानून बनाते हुए एक साथ तीन बार तलाक बोलकर या लिखकर निकाह समाप्त करने पर रोक लगा दी है। इस अपराध के लिए अधिकतम तीन वर्ष की कैद की सजा का भी प्रावधान किया गया है।फिर भी लोग मजहबी मानसिकता से ऊपर नहीं आ रहे। राजस्थान में मुस्लिम समुदाय के मध्य तलाक के प्रकरण आए दिन सामने आ ही जाते हैं। हाल ही में उदयपुर और जयपुर में कुछ मामले देखने को मिले।

राजस्थान के उदयपुर जिले में सात माह में तीन तलाक का दूसरा प्रकरण सामने आया है। पुलिस द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, इस संबंध में सलूंबर हाल उदयपुर में सज्जनगढ़ रोड निवासी आयशा शेख ने रिपोर्ट दर्ज कराई है। इसमें कहा गया है कि पिछले वर्ष 28 दिसंबर को उसका निकाह डूंगरपुर निवासी वकार से सलूंबर में हुआ था। उसी रात वकार के फोन पर अलग-अलग नंबरों से फोन आने लगे। उसने पूछा तो वकार ने कुछ नहीं बताया। एक दिन अवसर पाकर उसका मोबाइल चेक किया। इसमें कई महिलाओं के साथ उसके फोटो देखे। पूछने पर वकार ने बताया कि वह डूंगरपुर निवासी करिश्मा अहारी से पहले ही निकाह कर चुका है।

आयशा ने आरोप लगाया कि वकार और करिश्मा अजमेर शिफ्ट होने की योजना बना रहे थे। इस बारे में शौहर से पूछा तो उसने मारपीट कर आपत्तिजनक फोटो-वीडियो बना लिए और धमकाया कि करिश्मा के बारे में किसी को कुछ बताया तो वीडियो वायरल कर देगा। फिर तीन बार तलाक कहकर आयशा को बीवी मानने से मना कर दिया।

इसी प्रकार जयपुर में भी तीन तलाक के मामले सामने आए हैं। एक मामला रामगंज थाना क्षेत्र का है। पीड़िता का आरोप है कि उसका शौहर पिछले कई दिनों से उसके साथ मारपीट करता आ रहा है। परेशान होकर वह अब्बा के घर आ गई। पिछले दिनों शौहर ने अम्मी अब्बा के घर आकर परिवार वालों की उपस्थिति में उसके साथ मारपीट की। बाद में तीन तलाक बोलकर भाग गया। पीड़िता का वर्ष 2014 में निकाह हुआ था। तब से ही उसे ससुराल में दहेज को लेकर प्रताड़ित किया जा रहा था। एक दिन शौहर ने दोनों बच्चों समेत उसे घर से निकाल दिया। पीड़िता ने अब्बा के घर शरण ली और शौहर के विरुद्ध घरेलू हिंसा की शिकायत दर्ज कराई। उस दिन (29 जनवरी) समझौते के बहाने ही वह पीड़िता के अब्बू के घर आया था और तीन बार तलाक बोल कर भाग गया।

दूसरा मामला जयपुर की भट्टा बस्ती का है। भट्टा बस्ती थाने में एक मुस्लिम युवती ने रिपोर्ट दर्ज कराई कि वह दहेज प्रताड़ना से परेशान होकर अपने अब्बू के घर रह रही थी। 10 जनवरी की सुबह उसका शौहर गाली गलौच करते हुए घर में घुसा और उसे तीन तलाक देकर चला गया। युवती की आयु 28 वर्ष है।

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