स्मार्ट सिटी की बसों के रूट में शामिल होगा प्रताप गौरव केंद्र
- पर्यटकों के लिए 24 अक्टूबर से खुल रहा प्रताप गौरव केंद्र
उदयपुर, 22 अक्टूबर । अत्यंत अल्प समय में प्रसिद्धि पाने वाले उदयपुर के प्रताप गौरव केंद्र राष्ट्रीय तीर्थ को 24 अक्टूबर से पर्यटकों के लिए खोलने की तैयारी शुरू हो गई है। शुक्रवार को पूरे परिसर को सेनिटाइज किया जाएगा तथा इसके बाद हर पर्यटक की कोरोना से सुरक्षा को लेकर व्यवस्थाओं को चाक-चैबंद किया जाएगा। लॉकडाउन के बाद खुलते ही यहां के प्रवेश शुल्क में भारी छूट दी गई है।
प्रताप गौरव केन्द्र को संचालित करने वाली वीर शिरोमणि महाराणा प्रताप समिति के अध्यक्ष एवं उदयपुर के महापौर गोविन्द सिंह टांक ने गुरुवार को पत्रकार वार्ता में बताया कि शीघ्र ही उदयपुर में पब्लिक ट्रांसपोर्ट को बढ़ावा देने के लिए सिटी बसों का संचालन शुरू होने वाला है जो नगर निगम की देखरेख में चलेंगी। इन बसों के मार्ग में बड़गांव जाने वाली बसों के रूट में प्रताप गौरव केंद्र को भी शामिल किया गया है ताकि शहरवासी व बाहर से आने वाले पर्यटक सस्ते खर्च पर यहां तक पहुंच सकें। एक दिन में बसें इस रूट के करीब 5 फेरे करेंगी।
समिति के महामंत्री डॉ. परमेन्द्र दशोरा ने बताया कि गत 24 मार्च से कोरोना संक्रमण के कारण लॉकडाउन के साथ ही केंद्र बंद था। अब 24 अक्टूबर से पर्यटको के लिए पुनः खोला जा रहा है। अधिकाधिक पर्यटक यहां दर्शन कर सकें इसलिए प्रारंभ के 10 दिन टिकट दर में छूट दी गई है। पहले चरण में 24 से 26 अक्टूबर तक 50 रूपए प्रति व्यक्ति टिकट रहेगा। दूसरे चरण में 27 अक्टूबर से 2 नवम्बर तक 100 रूपए प्रति व्यक्ति टिकट रहेगा। इसके बाद पूर्व निर्धारित 150 रुपये प्रति व्यक्ति टिकट रहेगा जिसमें छात्र, सैनिक व अन्य श्रेणियों की पूर्व निर्धारित छूट जारी रहेगी।
कोरोना के मद्देनजर हर समूह 10-10 का रखा जाएगा, जिनके साथ एक गाइड रहेगा। मास्क नहीं लाने पर यहां मास्क भी उपलब्ध रहेगा जो पर्यटक को खरीदना होगा। प्रताप गौरव केंद्र परिसर में दिन में 3 से 4 बार सोडियम हाइपोक्लोराइट तथा सेनेटाइजर का छिड़काव किया जाएगा। परिसर में जगह-जगह निर्धारित दूरी तथा मास्क के प्रयोग को इंगित करते हुए सावधानी के संकेतक बोर्ड लगाए गए हैं।
दशोरा ने एक सवाल के जवाब में कहा कि केन्द्र में स्थित नौ मंदिर समूह के भक्ति संगम स्थल की साक्षी में परिणय सूत्र में बंधने के लिए अनुमति देने पर भी कई लोग आग्रह करते रहते हैं। समिति इस पर गहन विचार कर रही है। दशोरा ने बताया कि भारतीय सनातन संस्कृति के अनुरूप ही किसी भी तरह की गतिविधि को अनुमति देने पर विचार किया जा सकता है।
प्रताप गौरव केंद्र के निदेशक अनुराग सक्सेना ने बताया कि आगामी दिनों में महाराणा प्रताप की 57 फीट ऊंची प्रतिमा तक जाने के लिए मार्ग खोला जाएगा। वहां तक चार पहिया वाहन भी पर्यटकों को छोड़ने और लेने जा सकेगा। शीघ्र ही केन्द्र सरकार के सहयोग से प्रताप गौरव केंद्र मे एक लेजर शो का कार्य भी प्रारंभ होने वाला है। भविष्य में राजसिंह संग्रहालय के प्रारंभ करने की योजना पर भी तीव्र गति से कार्य चल रहा है।