सेवा का सुअवसर मनुष्य को सौभाग्य से मिलता है- सरसंघचालक

सेवा का सुअवसर मनुष्य को सौभाग्य से मिलता है- सरसंघचालक

सेवा का सुअवसर मनुष्य को सौभाग्य से मिलता है- सरसंघचालक   सेवा का सुअवसर मनुष्य को सौभाग्य से मिलता है- सरसंघचालक

चित्रकूट। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक डॉ. मोहन भागवत दो दिवसीय चित्रकूट प्रवास के दौरान जानकीकुंड में स्थापित श्री सदगुरु सेवा संघ ट्रस्ट के कार्यक्रम में उपस्थित रहे एवं रविवार को ट्रस्ट का भ्रमण कर प्रकल्पों का अवलोकन किया।

ट्रस्ट अध्यक्ष विशद भाई मफतलाल, उनकी धर्मपत्नी रूपल मफतलाल व परिवारजनों ने शाल, श्रीफल एवं स्मृति चिन्ह देकर सदगुरु परिवार की ओर से उनका स्वागत किया।

तत्पश्चात सरसंघचालक डॉ. मोहन भागवत ने ट्रस्ट में गुरुदेव की प्रेरणा से चल रहे मानव सेवा, गौ सेवा एवं साधु सेवा के कार्य को देखकर प्रसन्नता प्रकट की और चित्रकूट जैसे ग्रामीण अंचल में इतने बड़े पैमाने पर सेवा कार्य की सराहना की। उन्होंने कहा कि सेवा का सुअवसर मनुष्य को सौभाग्य से मिलता है। मानव जीवन में उत्थान का मूलमंत्र है कि पूरी क्षमता से वह स्वयं को सेवाकार्यों में संलग्न रखे। उन्होंने सेवाकार्य में जुड़े सभी कार्यकर्ताओं को शुभकामनाएं दीं। चित्रकूट प्रवास के बाद वे प्रयागराज के लिए रवाना हो गए।

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