अमेदा मंदिर में सरसंघचालक को सप्तमात्री नाग मूर्ति भेंट की गई
अमेदा मंदिर में सरसंघचालक को सप्तमात्री नाग मूर्ति भेंट की गई
- पुल्लुवन पट्टू सुनने के बाद मोहन भागवत ने नाग देवताओं की पूजा की
कोच्चि। डॉ. मोहन भागवत ने केरल में अपने संगठनात्मक कार्यक्रमों की शुरुआत पुल्लुवन गीत सुनकर और नाग देवताओं की पूजा करके की। उन्होंने पुल्लुवन गीत अनुष्ठान में भाग लिया और सप्तमात्री नागराज मंदिर में दर्शन के लिए गए।
मंदिर में उनका माला पहनाकर स्वागत किया गया और चांदी से बनी सप्तमात्री नाग मूर्ति भेंट की गई। इस मूर्ति में नाग देवता को ग्लोब को सहारा देते हुए दिखाया गया है, साथ ही सप्तमात्रिकाएं – ब्राह्मणी, माहेश्वरी, कौमारी, वैष्णवी, वाराही, इंद्राणी और चामुंडी – एक आसन पर बैठी हुई हैं।
मूर्ति को प्रसिद्ध कलाकार एमएल रमेश, जो तपस्या कला साहित्य वेदी थ्रिपुनिथुरा इकाई के अध्यक्ष भी हैं, ने बनाया है। सरसंघचालक ने शॉल ओढ़ाकर उन्हें सम्मानित किया। इस अवसर पर आरएसएस के एर्नाकुलम विभाग के संघचालक अमेद ए. वासुदेवन व क्षेत्र प्रचारक पीएन हरिकृष्ण कुमार भी उपस्थित थे।