दैनिक दिनचर्या का हिस्सा हो स्वाध्याय: मनोज कुमार
दैनिक दिनचर्या का हिस्सा हो स्वाध्याय: मनोज कुमार
जयपुर। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ राजस्थान क्षेत्र के प्रचार प्रमुख मनोज कुमार ने कहा कि श्रेष्ठ साहित्य का स्वाध्याय दैनिक जीवन का अंग होना चाहिए। इससे विचार शक्ति बढ़ती है। व्यस्त दिनचर्या में से कुछ समय पुस्तक पढ़ने के लिए अवश्य निकालना चाहिए।
मनोज कुमार राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सह सरकार्यवाह मनमोहन वैद्य की पुस्तक वी एण्ड वर्ल्ड अराउंड पुस्तक पर चर्चा के दौरान बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि मनमोहन वैद्य की इस पुस्तक से विश्व को समझने और जानने की एक नई दृष्टि मिलती है। पुस्तक विभिन्न प्रकाशन केन्द्रों के साथ ऑनलाइन भी उपलब्ध है। होटल क्लार्क आमेर में आयोजित जेएलएफ में शुक्रवार अपराह्न चार बजे इस पुस्तक पर विशेष सत्र होगा। आमंत्रित वक्ता पुस्तक के लेखक मनमोहन वैद्य के साथ चर्चा करेंगे।
मनोज कुमार ने कहा कि एक लेखक बड़े श्रम और शोध के बाद पुस्तक लिखता है ताकि छिपी हुई सच्चाई से समाज को प्रकाश मिले। बुद्धिजिवियों से समाज अपेक्षा भी रखता है कि वे समय-समय पर विचार शक्ति से समाज का मार्गदर्शन करेंगे। पिता को पढ़ता देखकर संतान में भी स्वाध्याय की अच्छी आदत विकसित होगी। आज के दौर में पुस्तकों के डिजिटल संस्करण और ऑडियो बुक्स सहज उपलब्ध हैं, जिन्हें हम कभी भी कहीं भी पढ़ सकते हैं।
प्रारंभ में राष्ट्रीय स्वयंसेवक के जयपुर महानगर प्रचार प्रमुख अशोक कुमार ने विषय की प्रस्तावना रखी।
पुस्तक चर्चा में विष्णु, प्रकाश, जितेन्द्र, दिनेश, महेंद्र, जितेश, मुरारी, मतीश, अनिल सहित कई पत्रकार उपस्थित रहे।
Books are peace of mind with blooming new thoughts….