मुंबई के गॉस्पेल चर्च से बच्चे रेस्क्यू, हो रहा था यौन शोषण, पादरी येसुदासन के विरुद्ध मामला दर्ज
मुंबई के गॉस्पेल चर्च से बच्चे रेस्क्यू, हो रहा था यौन शोषण, पादरी येसुदासन के विरुद्ध मामला दर्ज
चर्चों में सेवा के नाम पर अक्सर मतांतरण और यौन शोषण के मामलों का खुलासा होता रहता है। इस बार नवी मुंबई के सीवुड स्थित बेथेल गॉस्पेल चेरिटेबल ट्रस्ट चर्च चर्चा में है। चर्च में बच्चों व मानसिक रूप से विक्षिप्त महिलाओं के साथ दुर्व्यवहार की सूचना के बाद, जब पुलिस ने छापेमारी की, तो चर्च से जुड़े अनाधिकृत आश्रम स्कूल से 45 लड़के–लड़कियों को रेस्क्यू किया गया। यह घटना 24 जून की है।आश्रम में मिले नाबालिग बच्चों में 8 बच्चे उदयपुर के थे। जिनमें 6 वर्ष से 14 वर्ष तक की 7 लड़कियां और एक लड़का शामिल है। ये सभी बच्चे उदयपुर के बड़गांव और आसपास के क्षेत्र के रहने वाले हैं।
इन बच्चों को जब चर्च से छुड़ाकर उल्हासनगर के सरकारी बाल गृह में रखा गया और उनकी काउंसलिंग हुई, तब पूरा मामला सामने आया। बच्चियों ने बताया कि उन्हें चर्च में खाने में नशा मिलाकर दिया जाता था। नशा मिला खाना खाने के बाद वे बेहोश हो जाती थीं। सुबह होश आने पर उन्हें पता चलता था कि उनके साथ गलत काम हुआ है। इन बच्चों को मंगलवार (27 सितम्बर) दोपहर उदयपुर लाया गया। यहॉं लाने के बाद महाराष्ट्र पुलिस ने सभी को बाल कल्याण समिति को सौंप दिया। समिति ने बच्चों के मेडिकल व बयान दर्ज करवाने के बाद उन्हें उनके परिजनों को सौंप दिया। पादरी येसुदासन के विरुद्ध पॉक्सो एक्ट में माला दर्ज कराया गया है।