बीटी बैंगन सहित किसी भी जीएम फसल के परीक्षण की अनुमति न दी जाए

किसान संघ की मांग: बीटी बैंगन सहित किसी भी जीएम फसल के परीक्षण की अनुमति न दी जाए

किसान संघ की मांग: बीटी बैंगन सहित किसी भी जीएम फसल के परीक्षण की अनुमति न दी जाए

जयपुर, 25 अगस्त। भारतीय किसान संघ ने सरकार से मांग की है कि देश में बीटी बैंगन सहित किसी भी जीएम फसल के परीक्षण की अनुमति न दी जाए। इस सम्बंध में किसान संघ के प्रतिनिधिमंडल ने केंद्रीय पर्यावरण, वन व जलवायु मंत्री प्रकाश जावड़ेकर से मुलाकात की। उल्लेखनीय है कि भारत सरकार के पर्यावरण मंत्रालय के अंतर्गत जेनेटिक इंजीनियरिंग मूल्यांकन समिति द्वारा हाल ही में देश के 8 राज्यों में आनुवंशकीय परिवर्तित (जीएम) फसल बीटी बैंगन का द्वितीय परीक्षण करने की अनुमति दी गई है।

केंद्रीय पर्यावरण मंत्री से हुई मुलाकात के बारे में जानकारी देते हुये प्रतिनिधि मंडल में शामिल भारतीय किसान संघ के अखिल भारतीय महामंत्री बद्रीनारायण चौधरी ने बताया कि किसान संघ के द्वारा केंद्रीय मंत्री के सामने बात रखी गई कि पर्यावरण प्रदूषण, जैव विविधता को खतरा, पशु एवं मानव स्वास्थ्य, उत्पादकता, बाजार एकाधिकार आदि जैसे कई गंभीर मुद्दे हैं, जिन्हें जीएम फसलों के ऐसे परीक्षणों की अनुमति देने से पहले जानने एवं विश्लेषण करने की आवश्यकता है, जो कि अभी भी लंबित हैं। उन्होंने बताया कि अधिकांश प्रतिष्ठित संस्थानों में, संसदीय स्थायी समिति, माननीय सर्वोच्च न्यायालय की तकनीकी विशेषज्ञ समिति, प्रतिष्ठित वैज्ञानिकों के विचार, कुछ कृषि प्रधान राज्यों के संबंधित अधिकारी आदि ने अपनी आशंका व्यक्त की है। ऐसे में परीक्षण की अनुमति देना उचित नहीं होगा, जबकि कई राज्यों ने पहले ही जीएम खाद्य फसलों के परीक्षणों पर प्रतिबंध लगा दिया है।

चौधरी ने बताया कि अभी देश कोरोना महामारी के संकट से जूझ रहा है ऐसे समय, संबधित घटकों को अंधेरे में रखते हुए, बिना किसी से चर्चा किए GEAC द्वारा यह निर्णय लिया गया, जिसका किसान संघ ने विरोध किया। GEAC की भी इसके बारे में पूछताछ होनी चाहिए। इस संदर्भ में तमिलनाडु, कर्नाटक, छतीसगढ़, मध्यप्रदेश, झारखंड, बिहार, बंगाल एवं ओडिशा के मुख्यमंत्रियों को भी ज्ञापन देकर अनुरोध किया है कि वे अपने राज्यों में इसकी परीक्षण की अनुमति न दें।

किसान संघ के अखिल भारतीय उपाध्यक्ष प्रभाकर केलकर ने बताया कि सभी पहलुओं को स्पष्ट करने के बाद, पूरे देश में कहीं भी, संपूर्ण कृषक समुदाय और उपभोक्ताओं के लाभ के लिए बीटी बैंगन तथा अन्य जीएम फसलों के परीक्षण की अनुमति न देने का तथा देश अभी Non- GMO है, इसलिए GM खाद्यान्नों पर भी रोक लगे ऐसा सरकार से आग्रह किया है। तत्संबंध में पर्यावरण मंत्री जावड़ेकर ने सभी पहलुओं पर विचार कर सकारात्मक कार्यवाही का आश्वासन दिया है। इस अवसर पर भारतीय किसान संघ के प्रतिनिधिमंडल में अखिल भारतीय संगठन मंत्री दिनेश कुलकर्णी, महामंत्री बद्रीनारायण चौधरी, उपाध्यक्ष प्रभाकर केलकर व अखिल भारतीय मंत्री साई रेड्डी की उपस्थित रहे।

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